आज के ब्लॉग में हम On Grid Solar Inverter System Wiring Connection करना सीखेंगे। अगर आप भी अपने घर या ऑफिस में On Grid Solar Inverter लगाना चाहते हैं, तो ये ब्लॉग आपके लिए है। चलिए, शुरू करते हैं!
इसके लिए हमें on grid solar inverter, तीन सोलर पैनल, एक डीसीडीवी, एक एसिडीवी, एक सोलर मीटर, और एक नेट मीटर, की ज़रूरत होगी।
On Grid Solar Inverter System एक ऐसा उपकरण है, जो सोलर पैनल से उत्पन्न डीसी (DC) बिजली को घर या ऑफिस में उपयोग के लिए एसी (AC) बिजली में बदल देता है और इसे बिजली ग्रिड से जोड़ता है।
ऑन ग्रिड सोलर इन्वर्टर के मुख्य कार्य:
- डीसी को एसी में बदलना:
सोलर पैनल से आने वाली डायरेक्ट करंट (DC) बिजली को एसी (Alternating Current) में बदलता है, जिसे हम घर के उपकरणों में इस्तेमाल कर सकते हैं। - ग्रिड से कनेक्शन:
यह इन्वर्टर सीधे बिजली ग्रिड से जुड़ा रहता है। अगर सोलर पैनल से पर्याप्त बिजली नहीं बनती, तो ग्रिड से बिजली लेकर आपकी जरूरत पूरी करता है। - नेट मीटरिंग सपोर्ट:
यह सोलर पैनल से बनी अतिरिक्त बिजली को ग्रिड में भेजने में मदद करता है। इसके लिए नेट मीटर इस्तेमाल होता है, जो यह रिकॉर्ड करता है कि आपने ग्रिड को कितनी बिजली दी और ग्रिड से कितनी बिजली ली। - बिजली की खपत का प्रबंधन:
- दिन में जब सोलर पैनल बिजली बनाते हैं, तो आपकी खपत सीधे सोलर बिजली से होती है।
- अगर बिजली की खपत कम हो और उत्पादन ज्यादा हो, तो अतिरिक्त बिजली ग्रिड में भेज दी जाती है।
- रात में या जब सोलर बिजली कम हो, तो बिजली ग्रिड से ली जाती है।
- बैटरी की जरूरत नहीं:
ऑन ग्रिड सोलर इन्वर्टर में बैटरी की जरूरत नहीं होती, जिससे इसकी लागत कम होती है।
On Grid Solar Inverter System Wiring Connection
यहां एक Wiring Diagram दिया गया है। इसे देखकर आप आसानी से On-Grid Solar Inverter System Wiring कर सकते हैं। यह Diagram आपको हर Connection को सही तरीके से समझने और जोड़ने में मदद करेगा, जिससे आपकी इंस्टॉलेशन प्रक्रिया सरल और सुरक्षित हो जाएगी।
On Grid Solar Panel Wiring procedure
तो On Grid Solar Inverter वायरिंग करने के लिए सबसे पहले, सोलर पैनल्स को सीरीज में जोड़ेंगे।
- पहले सोलर पैनल के नेगेटिव टर्मिनल को दूसरे सोलर पैनल के पॉजिटिव टर्मिनल से जोड़िए।
- फिर, दूसरे सोलर पैनल के नेगेटिव टर्मिनल को तीसरे सोलर पैनल के पॉजिटिव टर्मिनल से जोड़िए।
- इसके बाद, पहले सोलर पैनल के पॉजिटिव टर्मिनल और आखिरी सोलर पैनल के नेगेटिव टर्मिनल को डीसीडीवी (DCDB) के MCB इनपुट में जोड़ दीजिए।
डीसीडीवी का आउटपुट:
- डीसीडीवी का आउटपुट एसपीडी (SPD) में जुड़ेगा।
- एसपीडी से आगे इसे टर्मिनल ब्लॉक में जोड़ दिया जाएगा।
- याद रखें: एसपीडी को अर्थिंग देना बहुत जरूरी है।
डीसीडीवी से इन्वर्टर का कनेक्शन:
- डीसीडीवी के टर्मिनल ब्लॉक से पॉजिटिव और नेगेटिव वायर को इन्वर्टर के इनपुट में जोड़ दीजिए।
इन्वर्टर से एसीडीवी का कनेक्शन:
- इन्वर्टर से जो फेज और न्यूट्रल वायर निकलेगा, उसे एसीडीवी (ACDB) के MCB इनपुट में जोड़िए।
- एसीडीवी का आउटपुट एसपीडी में जुड़ेगा।
- एसपीडी से इसे आगे टर्मिनल ब्लॉक में जोड़ा जाएगा।
- याद रखें: एसपीडी को अर्थिंग देना बहुत जरूरी है।
एसीडीवी से सोलर मीटर का कनेक्शन:
- एसीडीवी के टर्मिनल ब्लॉक से फेज और न्यूट्रल वायर को सोलर मीटर के इनपुट टर्मिनल में जोड़िए।
- सोलर मीटर के आउटपुट से फेज और न्यूट्रल वायर को घर के डिस्ट्रीब्यूशन बॉक्स में कनेक्ट करें।
ग्रिड सप्लाई से नेट मीटर का कनेक्शन:
- ग्रिड सप्लाई से फेज और न्यूट्रल वायर को नेट मीटर के इनपुट टर्मिनल में जोड़िए।
- नेट मीटर के आउटपुट से फेज और न्यूट्रल वायर को घर के डिस्ट्रीब्यूशन बॉक्स में कनेक्ट करें।
इस तरीके से आप On Grid Solar Inverter System Wiring की पूरी वायरिंग कर सकते हैं।
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